भूलकर भी न करें ये कार्य, झेलनी पड़ सकती है परेशानी

वास्‍तुशास्‍त्र में ये कार्य माने गए हैं वर्जित

कभी अचानक से ही हंसती-खेलती लाइफ में टेंशन का अंबार लग जाए। या फ‍िर घर-पर‍िवार में सदस्‍यों के बीच आपसी तनातनी बढ़ती ही जाए। तो फ‍िर थोड़ी सावधानी बरतने की जरूरत है अन्‍यथा वास्‍तुशास्‍त्र के अनुसार जीवन में परेशानी ही परेशानी लगी ही रहती है। तो आइए इन उपायों के बारे में व‍िस्‍तार से जानते हैं....

  1     भूलकर भी न रखें कभी दूध को ऐसे
वास्‍तुशास्‍त्र के अनुसार दूध ज‍िस भी बर्तन में रखें एक बात का ख्‍याल रखें। कभी भी दूध को खुला नहीं रखें। कहते हैं क‍ि दूध को खुला रखने से घर-पर‍िवार के सदस्‍यों में आपसी तनातनी बढ़ जाती है। मानस‍िक बीमार‍ियां भी घेरने लगती हैं।

  2    कहीं आप भी तो ऐसा नहीं करते हैं

वास्‍तुशास्त्र के अनुसार घर की छत पर कभी भी खाली मटके, पुराने गमले, खराब कूलर, पंखे या रद्दी का सामान नहीं रखना चाह‍िए। खासतौर से उस कमरे की छत पर ये चीजें नहीं होनी चाहिए, जहां आप रात को शयन करते हैं। इसके अलावा रात को सोते समय अपने सिर के पास लाल रुमाल जरूर रखें। ऐसा करने से बुरे सपने नहीं आते। इसके अलावा घर में कभी भी एकदम अंधेरा नहीं रखना चाह‍िए। घर में कहीं न कहीं रोशनी जरूर रखनी चाह‍िए। ऐसा करने से बुरे सपने नहीं आते हैं और मानस‍िक तनाव से भी राहत म‍िलती है।

  3    मुख्‍य द्वार के सामने का भी रखें ख्‍याल

वास्‍तुशास्‍त्र के अनुसार घर के मुख्य द्वार के सामने भूलकर भी कंटीला पौधा या फूल नहीं लगाना चाह‍िए। इसके अलावा घर के सामने गंदा पानी भी इकट्ठा नहीं होना चाहिए। इससे घर में रहने वाले लोगों के जीवन में कष्‍ट ही कष्‍ट आता है। साथ ही घर में रहने वाले लोगों को कोई न कोई व्‍याधि लगी ही रहती है। इससे राहत पाने के ल‍िए मुख्य द्वार पर कोई शुभ प्रतीक चिह्न, ऊं, गणपति, शुभ-लाभ या जिस देवी-देवता में आप श्रद्धा रखते हैं, लिखवाना चाह‍िए। ऐसा करने से जीवन में आने वाली सारी परेशान‍ियां दूर हो जाती हैं।

  4     इन बातों का रखना चाह‍िए व‍िशेष ख्‍याल

वास्‍तुशास्‍त्र के अनुसार क‍िचन में कभी भी जूते-चप्‍पल पहनकर नहीं जाना चाह‍िए। कहते हैं क‍ि इससे मां अन्‍नपूर्णा रूठ जाती हैं और इससे घर में क्‍लेश मच जाता है। इसके अलावा कभी भी तब तक भोजन न करें जब तक क‍ि गाय को पहली रोटी न ख‍िला दें। कहते हैं क‍ि ऐसा न करने वाले जातकों को सेहत संबंधी समस्‍याओं के साथ ही धन संबंधी द‍िक्‍कतों का भी सामना करना पड़ सकता है।

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