कथावाचक कान्हा महाराज ने आगे कहा कि मनुष्य जीवन में जाने अनजाने प्रतिदिन कई पाप होते हैं। उनका ईश्वर के समक्ष प्रायश्चित करना ही एक मात्र मुक्ति पाने का उपाय है। उन्होंने ईश्वर आराधना के साथ अच्छे कर्म करने का आह्वान किया। नेमावर रोड स्थित ग्राम माली खेड़ी के रेणुका माता मंदिर में श्रीमद् भागवत कथा ज्ञान यज्ञ के तीसरे दिन कथा में उपस्थित श्रद्धालुओं को संबोधित करते हुए उन्होंने जीवन में सत्संग व शास्त्रों में बताए आदर्शों का श्रवण करने का आह्वान करते हुए कहा कि कथा में वह शक्ति है, जो व्यक्ति के जीवन को बदल देती है। उन्होंने कहा कि व्यक्तियों को अपने जीवन में क्रोध, लोभ, मोह, हिंसा, संग्रह आदि का त्यागकर विवेक के साथ श्रेष्ठ कर्म करने चाहिए।
व्यासपीठ से कान्हा महाराज ने सोमवार को भागवत कथा के दौरान विभिन्न प्रसंगों पर प्रवचन करते हुए कहा कि भगवान के नाम मात्र से ही व्यक्ति भवसागर से पार उतर जाता है। उन्होंने भगवत कीर्तन करने, ज्ञानी पुरुषों के साथ सत्संग कर ज्ञान प्राप्त करने व अपने जीवन को सार्थक करने का आह्वान किया। सोमवार को कथा के दौरान मुख्य रूप से खंडेल गुफा आश्रम से आनंद गिरि महाराज, सेमलिया चाऊ से कमलगिरी महाराज, जैतपुरा से भारती राजा महाराज, शिप्रा टेकरी से मनीष महाराज, रघुनाथ महाराज, मनोहर दास महाराज आदि उपस्थित थे। रेणुका माता मंदिर माली खेड़ी के महंत श्री दयानंद गिरी जी महाराज ने बताया कि भारत के विभिन्न हिस्सों से साधु संत भागवत कथा आयोजन में पधार रहे हैं। मंगलवार को आयोजन में महंत दर्शन गिरी महाराज खंडेल गुफा वाले भी आशीर्वाद देने हेतु उपस्थित रहेंगे। महंत श्री दयानंद गिरी महाराज एवं संतोष गिरी महाराज ने बताया कि 10 मई को विशाल भंडारे के साथ कथा का समापन होगा।
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