घायलों में 132 पुरुष और 58 महिलाएं शामिल हैं, जिन्हें तत्काल अस्पताल में भर्ती किया गया है। हादसे के प्रभाव से पूरे इलाके में अब हवा में धुंआं फैला हुआ है और वहां की स्थिति बहुत ही खतरनाक हो गई है।
बता दें कि एंबुलेंस के साथ-साथ थानों की गाड़ियों से भी मरीजों को अस्पताल पहुंचाया गया और सरकार ने इस हादसे की जांच के लिए 6 सदस्यों की टीम गठित की है। जिला अधिकारी पंकज खत्री, थानेदार झनकलाल पंवार और उदयसिंह उइके से संपर्क करके हादसे के बारे में और जानकारी प्राप्त की जा सकती है।
इस त्रासदी के दौरान फैक्ट्री में करीब 1 हजार लोग काम कर रहे थे और इस ब्लास्ट से पूरा इलाका मलबे में बदल गया है। हरदा में सांस लेना भी मुश्किल हो गया है और आसपास की जगहों में दहशत फैली गयी। हादसे की प्रारंभिक जांच में सरकार ने दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने का आदेश दिया है।